Chodane gaya tha randi – wo nikali meri sali – hindi story

मेरा नाम रवि हे,, मेरी लाइफ के मजे लेने के तरीके ही बदल गए इस घटना के बाद. स्टोरी की थीम ये हे की कैसे मैं जान गया की मेरी साली पिंकी एक रंडी हे. और फिर मैं उसे खुद चोदने के लिए होटल पर ले गया! मैं आईटी में काम करता हूँ. और अक्सर मुझे ऑफिस के काम से बहार जाना पड़ता हे. तो कभी कभी मैं ऑफिस के काम के बहाने से होटल में जा के रात को रुक जाता हूँ. और कॉलगर्ल को बुलाकर मजे भी करता हूँ. मेरी वाइफ अभी प्रेग्नेंट हे उसका सातवाँ महिना चल रहा हे इसलिए हम सेक्स नहीं कर पाते हे. दो हफ्ते पहले की बात हे. मेरे ऊपर लंड का काबू होने लगा था. और मैंने अपनी बीवी को ऑफिस के काम का बहाना बताया और होटल पर चला गया सेक्स की तलाश में!मैं रेग्युलर जिस होटल में जाता था वही गया. और कमरा लेने के बाद मैं नहाने के लिए चला गया.

अब मैं तैयार था अपनी प्यास को बुझाने के लिए तो कालिंग बेल बजा दी. थोड़ी देर में छोटू आया और उसके साथ कुछ स्नेक्स ले के आया था वो. मैंने कहा वाह रे छोटू आज तो सब काम एडवांस में कर रहे हो. तो वो स्माइल के साथ बोला हां साहिब आप लोगो को बाद में डिस्टर्ब करना अच्छा नहीं लगता हे काम में. आप लोगों की वजह से ही हमारी रोजी चल रही हे. दरअसल मैं जब भी आता हूँ तो इस वेटर छोटू को अच्छी टिप देता हूँ इसलिए वो मेरी बड़ी सेवा करता हे. छोटू ने बियर के ग्लास को भरते हुए कहा, और साहब कुछ नया टेस्ट करेंगे? या वही आप की फेवरिट रानी को बुलाऊं?

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मेरा मूड आज कुछ नया ट्राय करने का था तो मैंने उसे कहा, आज नया ही मंगवा ले कुछ छोटू!,, छोटू ने अपने मोबाइल को जेब से निकाला और वो मुझे लड़कियों के फोटो दिखाने लगा. वो बोला, ये देखो साहब ये सब नए माल हे और एक से बढ़कर एक हे. मैंने कहा सब से ताजा माल दिखा. छोटू ने एक और फोल्डर खोला और पहली फोटो जो दिखाई उसे देख के मैं हिल गया. मैंने कहा अरे ये तो पिंकी हे ना? असल में पिंकी जो हे वो मेरी सगी साली हे और कॉलेज में पढ़ती हे और हॉस्टल में रहती हे.

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छोटू बोला, अरे वाह साहब आप इसके साथ बैठे हो क्या पहले? एकदम नयी हे ये तो वैसे!

मैंने कहा, नहीं मैं इसे मिला हूँ एक दो बार कही किसी के घर पर, मेरी कोई खास जान पहचान नहीं हे.

मैं एक वेटर को ये नहीं बताना चाहता था की मेरी बीवी की बहन रंडी बनी बैठी हे!

छोटू बोला, ठीक हे साहब तो मैं फिर दुसरे माल दिखाऊं आप को, ये शालिनी हे डोक्टरनी बन रही हे दांतों की.

मेरे मन में पिंकी ही घूम रही थी. वो दिखने में काफी सेक्सी हे. उसके बड़े बूब्स और लम्बे बाल हे. मैं खुद उसे चोदना चाहता था लेकिन कभी सोचा नहीं था की वो ऐसे एक होटल में रंडी के जैसे मिलेगी मुझे!

मैंने कहा, छोटू एक काम पिंकी को ही बुलावा ले आज तू. आज इसी को चोदुंगा! छोटू बोला, ठीक हे साहब मैं अभी उसे कॉल कर देता हूँ, 10-15 मिनिट में आ जायेगी वो.

मैंने सोचा की पिंकी सीधे तो अपनी चूत मुझे नहीं देगी इसलिए कुछ करना पड़ेगा. मैंने फट से अपने सब कपडे खोले और तोवेल लपेट के बैठ गया. कमरे के खिड़कियाँ बंद कर के परदे खिंच लिए. फिर कमरे की लाईट बंद कर के सिर्फ एक डिम लाईट ओन कर दी. और मैं बिस्तर के ऊपर लेट गया. थोड़ी देर के बाद डोरबेल बजी तो मैं घबराते हुए थोड़ी भारी आवाज में बोला, अन्दर आ जाओ दरवाजा खुला हु हे. पिंकी जैसे ही अन्दर आई मैं उसे पहचान गया पर वो मुझे पहचान नहीं सकी. अन्दर आते हुये वो बोली, अरे यहाँ पर इतना अँधेरा क्यूँ हे सर आप कहो तो मैं लाईट ओन कर दूँ.

मैंने कहाँ नहीं अँधेरे में मुझे अच्छा नहीं लगता हे.

पिंकी बोली, ठीक हे फिर अँधेरा ही रहने देते हे.

पिंकी मेरे सामने सोफे के ऊपर बैठ गई. उसने अपने बेग को रखा और बोली, और साहब कितनी देर के लिए करना हे?

मैं” अरे छोटू ने बताया नहीं तुम्हे, मुझे तो पूरी नाईट के लिए चाहिए थी सर्विस. नाईट का कितना लेती हो तुम?

पिंकी: सर मैं फुल नाईट का 10000 चार्ज करती हूँ.

मैं: 10000 तो बहुत ज्यादा हे भाई. लेकिन चलो कोई नहीं, पर मैं जो कहूँगा वो सब करना पड़ेगा.

पिंकी बोली, सर आप के 10000 वेस्ट नहीं होंगे.

मैंने एक और ग्लास में बियर निकाल के पिंकी को दे दिया और पूछा, ये काम क्यूँ करती हो तुम?

पिंकी बोली, मजा आता हे साहब और ऊपर से कमाई भी हो जाती हे मेरी.

मैंने कहा, तुम्हारे घरवालो को पता हे?

पिंकी: नहीं नहीं अगर मेरी दीदी को पता चल गया तो वो मुझे मार ही डालेगी. अरे सर आप ये सब छोडो ना वरना मेरा मूड ऑफ़ हो जाएगा, फिर आप को ही मजा नहीं आएगा. आप ये बोलिए की कैसे शरु करना हे.

पिंकी रेडी थो चुकी थी. तो मैंने सोचा आज अपनी साली से लंड ही चूसा लेता हूँ पहले तो.

मैंने कहा, चलो आ जाओ मेरे पास और मेरे लंड को खड़ा कर दो.

पिंकी, जी सर.

पिंकी मेरे पास आकर मेरे लंड को पकड़ के सहलाने लगी. मैंने तोवेल को हटा दिया और पिंकी ने लंड के ऊपर एक किस कर दिया. फिर वो लंड को अपने हाथ में पकड़ के हिलाने लगी.

पिंकी बोली, सर आप का लोडा तो एकदम लम्बा और कडक हे.

मैं कहा, हां तूने इतना बड़ा पहले लिया हे की नहीं?

पिंकी बोली: हां देखे हे पर ये सब से बड़ा हे जितने मैंने देखे हे.

कहते हुए पिंकी ने अब मेरे लंड को अपने मुहं में ले लिया और उसे चूसने लगी.

मैं: अरे वाह मस्त चुस्ती हे तू तो, बड़ा मजा आ रहा हे मुझे, अह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह ह्म्म्मम्म!

पिंकी बिना कुछ बोले अपने काम में बीजी थी. मेरा लंड पूरा खड़ा हो चूका था और मुझे इतना मजा आ रहा था की मैं आँखे बंद कर के मजे ले रहा था. पिंकी अचानक बोली, मजा आ रहा हे ना साहब?

मैंने कहा, हां मेरी डार्लिंग पिंकी बहुत मजा आ रहा हे रुको मत इसे चुस्ती रहो.

पिंकी ने मेरे मुहं से अपना नाम सुना और वो अचानक खड़ी हो गई और पूछ्के लगी आप को मेरा नाम कैसे पता? कौन हो आप?

मैं थोडा घबरा गया और बोलने लगा की नहीं तो मैंने कब नाम लिया तुम्हारा.

पिंकी को डाउट हुआ वो उसने जा के लाईट ओन कर दी और मुझे देख के वो दंग ही रह गई और बोली, जीजा जी आप! आप यहाँ क्या कर रहे हो!

फिर वो बोली, और आप को पता था की मैं हूँ फिर आप ने ये सब क्यूँ कराया मेरे से पहले बोल देते!

मैंने सोचा की अगर मैं अब कुछ नहीं बोला तो फस जाउंगा. और तभी मेरे दिमाग में एक आइडिया आई और मैं तोवेल को लपेटते हुए बोला, मुझे किसी ने बोला था की तुम्हारी साली कॉल गर्ल का काम करती हे और आज मैं तुम्हे ररंगे हाथो पकड़ने के लिए ही आया था. और मैंने आज ये देख लिया की तुम सच में धंधेवाली बन गई हो और गिर गई हो! तुम्हारी दीदी तुम्हारा कितना ख्याल रखती हे जब उसे पता चलेगा तो उसके ऊपर क्या बीतेगी ये सोचा नहीं तुमने? उसने तुम्हे हॉस्टल में पढने के लिए रखा और तुम हो की इसी शहर में ऐसी रंगरलियां कर रही हो! पिंकी रोने लगी और बोली, प्लीज दीदी को पता ना चले जीजू आप दीदी को कुछ भी मत बताना प्लीज़, मैंने ये सब बंद कर दूंगी!

अब मुझे लगा की सब कुछ मेरे कंट्रोल में हे!

मैं: तुम्हारी दीदी को तो मैं सब कुछ बताऊंगा.

पिंकी: प्लीज जीजू आप जो बोलोगे मैं वो करुँगी लेकिन प्लीज़ दीदी को कुछ भी मत कहना.

ये सुनकर मैं घबराया हुआ लंड फिर से से खड़ा होने लगा था.

मैं: ठीक हे अगर तुम इतना गिडगिडा रही हो तो मैं तुम्हारी दीदी को कुछ नहीं कहूँगा लेकिन तुमने अभी जो बोला वो करोगी ना?

पिंकी: हां जीजू आप जो भी बोलोगे मैं वो करुँगी.

मैं: ठीक हे फिर तुम इस कमरे में जो करने के लिए आई थी वो करो, लेकिन मैं पैसे वैसे कुछ नहीं .

पिंकी: क्या! नहीं! आप मेरे जीजा जी! आप के साथ मैं ये सब कैसे कर सकती हूँ!

मैं: अरे वाह थोड़ी देर पहले तो बड़े मजे से मेरा लंड चूस रही थी. तो अब क्या हुआ. बोला जैसा मैं कहता हूँ वैसे करेगी नहीं तो फिर मैं तेरी दीदी को बोल देता हूँ.

पिंकी: ठीक हे जीजा जी आप जैसा बोलोगे मैं वैसा करने के लिए तैयार हूँ.

मैं: ये हुई ना बात मेरी रानी, तो अब आजा मेरे पास और मेरे लंड को अपने मुहं से ठंडा कर दे.

पिंकी: अच्छा तो लगता हे की आप का ही ये प्लान था मेरे साथ फ्री सेक्स करने के लिए!

मैंने उसे अपनी तरफ खिंच लिया.

पिंकी: हां मेरी जान, ये सब तो एक बहाना था असल में तो मैं तो तुझे उस दिन से ही चोदता चाहता हूँ जब तुझे पहली बार देखा था. लेकिन तब तू 18 साल की कच्ची कली थी और अब लंड खाने की मशीन! पिंकी मेरे लंड को अपने हाथ में पकड़ के बोली: फिर अप ने पहले बता दिया होता तो मैं आप से चुदवा लेती ना.

मैंने कहा: अभी भी कौन सी देर हुई हे मेरी जान अभी भी तो तुम मेरा लंड ही लोगी.

मैं: चल आजा फिर अपने जीजा के होंठो पर अपने गुलाबी और सेक्सी होंठो से प्यार भरा चुम्मा दे दे मेरी जान.

पिंकी आके मेरी गोदी में ही बैठ गई और उसने मेरे होंठो पर जो प्यार से चुम्मा दिया! साला ऐसा किस तो मेरी बीवी ने भी कभी नहीं दिया था मुझे.

मैं: चल मेरे सोये हुए लंड को फिर से जगा दे मेरी जान.

पिंकी: हां जीजू लेकिन लाईट बंद कर दू पहले की तरह.

मैं: अरे नहीं वो तो तुम पहचानो नहीं उसके लिए बंद थी. अब तो मैं देखूंगा की तुम कैसे मेरे लंड को प्यार देती हो. उसके लिए लाईट चालू ही रखना पड़ेगा ना.

पिंकी ने मुझे धक्का दे के लिटा दिया और वो मेरे लंड के पास बैठ गई. फिर उसने मुहं को खोला और लंड को मस्त अन्दर भर कइ चूसने लगी. मैंने उसके बालों में हाथ डाला और मैं उसे धक्के दे के लंड चटा रहा था. पिंकी के लंड चूसने की स्टाइल इतनी मस्त थी की मैं बाग़ बाग़ हो गया था. वो जबान को जब लंड पर घुमाती थी तो मुझे एक असीम आनन्द मिलता था. पिंकी ने मस्त 5 मिनिट तक मेरे लंड को चूसा और फिर वो बोली: चलो जीजा अब डाल दो मेरी बुर के अन्दर अपना लंड अब मेरे से बर्दाश्त नहीं हो रहा हे.

मैं: अरे रुक जा मेरी रंडी साली. अभी तो मैं तेरी कुंवारी बुर को चाटूंगा.

पिंकी: आ जाओ ना जल्दी से फिर और मेरी बुर को खा जाओ.

मैंने पिंकी को लिटा दिया और उसके बुर में अपनी जबान डाल के चाटने लगा. पिंकी की चुदासी आवाजें कमरे में गूंज रही थी. उसे अपनी चूत लिक करवा के अलग ही मजा मिल रहा था. वो मुझे अपने ऊपर दबा रही थी और चुसवा रही थी. और तभी वो बोली: अह्ह्ह जीजा झाड दिया तूने तो.

और उसके बुर का नमकीन पानी मेरे मुह पर आ गया. मैंने चाट के उसे और खुश किया और फिर उसे कहा चलो अब डालूं लंड को. पिंकी की टाँगे खोल के मैंने अपने लंड को एक धक्के में ऐसा घुसाया की वो उछल पड़ी और बोली: अरे आराम से जीजा अह्ह्ह अह्ह्ह्ह कितन बड़ा हे आप का तो दीदी कैसे लेती हे!

मैंने कहा: दीदी तो रो रो के लेती हे इसे.

पिंकी: अह्ह्ह अह्ह्ह्ह अह्ह्ह्ह ह्म्म्मम्म अह्ह्ह्ह चोदो मेरे राजा. बड़ा मस्त लंड हे आप का तो!

पिंकी हिल हिल के मेरे लंड को अपनी बुर में घिस रही थी. मैंने भी उसकी गुलाबी निपल्स को चूस चूस के लाल कर दिया. और एकदम फास्ट चुदाई देने लगा उसको. वो जोर जोर से अपनी कमर के ऊपर के हिस्से को हिला के मुझे चुदाई में सपोर्ट कर रही थी. होटल के कमरे का ये नर्म गद्दा चूं चूं की आवाज करने लगा था मेरी साली की मस्त चुदाई से. कुछ देर तक मैंने उसे ऐसे मिशनरी पोज में चोदा. और फिर मैंने उसे कहा, चल अब कुतिया बन जा.

पिंकी अपनी चारो टांगो के ऊपर खड़े हुए जानवर के जैसे हो गई. मैंने पीछे से उसकी चूत को खोल के अपना लंड अन्दर डाला. वो भी गांड हिला हिला के चुदने लगी. मेरा ध्यान अब उसकी गांड पर था. मैंने ऊँगली रख के घिसी. और फिर ऊँगली को सूंघी. गांड की महक होती हे वैसे ही महक आ रही थी. जिसे सूंघ के गांड ठोकने का मन और भी ज्यादा हो गया.

पिंकी ने सामने से कहा: पीछे देना हे जीजू?

मैंने कहा: हां.

रुको मैं आप की गोदी में आ जाती हूँ गांड में ले के.

फिर वो फट से खड़ी हो गई. लंड के ऊपर चूत की चिकनाहट थी उसका फायदा ले के पिंकी ने लंड को गांड में ले लिया. मुझे तो ऐसा था की [पिंकी को बहुत दर्द होगा एनाल सेक्स से. लेकिन वो सिर्फ अह्ह्ह अह्ह्ह कर रही थी.

मैंने कहा: सच सच बता कितनो से गांड मरवाई हे. वो बोली: बहुत सब से जीजा, एक महीने से ये काम कर रही थी. दो होटल में जाती थी. और रोज एकाद तो सिर्फ गांड मारने के लिए ही आता था.

मैं: साली आप की गांड तो खुल गई हे पूरी.

पिंकी: जीजू आप मजे लीजये ना आप के लिए तो फ्री सेक्स हे ना!

मैंने उसके होंठो को कस के चूमा. वो गांड हिला हिला के मरवा रही थी. पांच मिनिट में मैंने उसकी गांड में अपनी तोप की नाली से पानी निकाला. वो भीग गई अन्दर से. और वीर्य उसके एसहोल से बहार को होने लगा. होटल वाले की चादर गन्दी हो गई.

पिंकी बिस्तर पर ही लेट गई और मैं उसके ऊपर.

मैं: कैसे लगा पिंकी?

पिंकी: सच कहूँ बड़ा मजा आया जीजा.

मैं: अब तू ये सब काम छोड़ दे मेरी जान. देख मैं हर महीने दो तिन बार कॉल गर्ल के साथ सेक्स करता हूँ. तेरी शादी नहीं हो जाती हे तब तक तू मेरी रखेल बन जा. हॉस्टल की जगह कोई फ्लेट ले ले. और मैं तेरा मंगेतर हु ऐसा सब को बोल दे.

मैं जो खर्चे रांडो के ऊपर करता हूँ वो तेरे ऊपर करूँगा.

पिंकी ने आँख मारी और बोली: और आप को फ्री सेक्स मिलता रहेगा!

मैं: तुझे भी तो अय्याशी करवाऊंगा मेरी छिनाल. पिंकी मान गई. और उस रात को वो पूरी रात मेरे साथ ही रही. सुबह वो चली गई. मैं भी नाहा के निकला. छोटू वही खड़ा था. मैंने उसे 500 दिए और मन ही मन सोचा की साली रंडी ना रही तो छोटी की बक्षिस के ऊपर बड़ा असर पड़ेगा!